Tuesday, October 28, 2008

झल्ली कलम से २८ ओक्टुबर

एक मराठी मानुष ओये झाल्लेया देखा आमची मुंबई का क़ानून यहाँकी बेस्ट बस को रोड जैक करने वाले बिहारी हीरो राहुल के कट्टे से निकली तीन बुल्लेट्स के जवाब में मुम्बईया पुलिस ने ताबरतोर चार गुना ज्यादा गोलियाँ बरसा कर उसे ढेर कर दिया अब तो गोली के जवाब में गोली ही मिलेगी और पुलिस को वाहेंवाही

झल्ला अपराध तो अपराध हे ही मगर कानून भीतो कानून ही हे लेकिन आपजी की मुंबई में मनसे राज में निर्दोषों को मरने वालों को वी आई पीपुलिस सुरक्षा और कट्टे से महज़ तीन हवाई फायर करने वाले निर्बोध को मृतुदंड एसा इन्साफ तो केवल आमची सॉरी आपजीकी मुंबई में ही सराही जा सकती हे

1 comment:

Anonymous said...

Dear Sablok (jamos jhalla)
I am happy to see that you are doing some good social work through this blog. You have in you inbuilt writing power and the same is well being utilised. Good work done. Keep it up.
I. BURMAN